संयुक्त राष्ट्र
जनसंख्या कोष का अनुमान है कि उत्तर कोरिया में जन्मदर लगातार घट रही है। हाल के
दशकों में अपने सबसे निचले स्तर पर यह दर पहुंच चुकी है। वर्ष 2023 तक उत्तर कोरिया में एक महिला से जन्म लेने वाले
बच्चों की औसत संख्या 1.8 थी।
वैसे तो यह उसके पड़ोसी देशों की तुलना में थोड़ी अधिक है, जो पहले से ही बच्चों की गिरती जन्मदर से काफी
जूझ रहे हैं। प्रजनन दर में गिरावट से जूझ रहे देशों में चीन, जापान और दक्षिण कोरिया प्रमुख हैं। चीन को तो
अपने देश की सेना में भर्ती होने के लिए नए रंगरूट तक नहीं मिल रहे हैं। दक्षिण
कोरिया की प्रजनन दर पिछले साल गिरकर रिकॉर्ड निचले स्तर 0.78 पर आ गई, जबकि जापान में यह आंकड़ा
गिरकर 1.26 पर आ गया। उत्तर कोरिया में बच्चे कम पैदा हो रहे
हैं। इसे लेकर तानाशाह किम जोंग खासे परेशान हैं। बच्चे कम पैदा होने की दर को
देखते हुए किम जोंग ने राजधानी प्योंगयोंग में एक बड़ा आयोजन किया। इसमें उन्होंने
माताओं को देशभर से बुलाया। इस दौरान किम जोंग ने माताओं से अपील की कि वे उत्तर
कोरिया में घटती जन्मदर को बढ़ाने के सरकारी प्रयासों को अपना समर्थन दें।
उन्होंने कहा कि इस चुनौती से घर संभालने वाली हर महिला को जूझना है। कार्यक्रम
में किम ने कहा,
जन्म दर में गिरावट को रोकना और बच्चों की
अच्छी देखभाल करना सभी माताओं का कर्तव्य हैं जिन्हें हमें काम करते समय भी
संभालना होगा।
उत्तर कोरिया ही नहीं, चीन भी
अपने देश में घटती जन्मदर से परेशान हैं। खुद चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग इस मामले
में अनी चिंता जाहिर कर चुके हैं। चीन में तो युवा कपल से शादी करने की और बच्चों
को जन्म देने की अपील की जा रही है। चीन ने दशक पहले एक बच्चे को जन्म देने का
अभियान चलाया था, जब युवाओं की संख्या
घटने लगी तो कुछ साल पहले उन्होंने यह अभियान वापस ले लिया। अब तो चीन चाहता है कि
जन्मदर बढ़े। चीन में युवा अपने करियर के चलते शादी से भी बचते हैं। इसी कारण
युवाओं को शादी करने के लिए बढ़ावा दिया जा रहा है। लगभग 25 मिलियन
लोगों की आबादी वाले उत्तर कोरिया को हाल के दशकों में भोजन की गंभीर कमी से भी
जूझना पड़ा है। इसमें 1990 के दशक
में आया घातक अकाल भी शामिल है।
उत्तर कोरिया में अक्सर बाढ़ जैसी प्राकृतिक
आपदाओं के परिणामस्वरूप फसलों को नुकसान पहुंचता है। उत्तर कोरियाई नेता ने
राष्ट्रीय शक्ति को मजबूत करने में उनकी भूमिका के लिए माताओं को शुक्रिया अदा
किया।
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