विश्वसनीय सूत्रों के अनुसार यह गंभीर मामला गोराडीह थाना क्षेत्र के
पहाड़िया बिहार के भागलपुर स्थान का है, जहां
शुक्रवार देर रात को 49 वर्षीय
सुमेश मंडल की गला रेतकर हत्या कर दी गई थी। इसी मामले में पुलिस ने सात मजदूरों
को हिरासत में लिया था और उनसे पूछताछ करने के लिए थाने ले गई थी। मायागंज में
इलाज कराने आए घायल धनेश्वर दास ने बताया कि पुलिस पूछताछ के लिए थाना लेकर गई थी
और वहां पर जबरदस्ती अपराधियों के नाम को कबूल करवाने की कोशिश कर उन्हें बुरी तरह
पीटने लगी। पीड़ितों ने बताया कि 24 घंटे तक
पुलिस ने उन्हें थाने में रखा और सभी के दोनों हाथों को बांधकर एक घंटे तक
लाठी-डंडा और बेल्ट से पिटाई
की। इतना ही नहीं पुलिस का पिटाई से मन नहीं भरा तो
उन्होंने मलद्वार में पेट्रोल डाल दिया। शख्स ने बताया, पिटाई में शामिल पुलिस करंट के तार को भी सटाने की लगातार
धमकी दे रहे थे और बार-बार कह रहे थे कि अपराधी कौन है नाम बताओ,जबकि हम नहीं
जानते कि हत्या किसने की है। उन्होंने कहा, साहब, पुलिस ने
बहुत पीटा है। हम लोग गरीब आदमी हैं,हरिजन जाति से आते हैं इसलिए हम लोगों को पुलिस
ने हिरासत में लेकर हमारे साथ मारपीट की। गौरतलब है कि बिहार के भागलपुर गौरडीह पुलिस ने
मजदूरी करने वाले सात लोगों को पहले उनके घरों से उठाया और फिर थाने ले जाकर उनकी
जमकर पिटाई की। इतना ही नहीं पुलिस ने हिरासत में लिए मजदूरों के साथ थर्ड डिग्री
टॉर्चर किया।
पुलिस ने पहले मजदूरों को बुरी तरह पीटा और फिर उनके मलद्वार में
पेट्रोल डाल दिया और फिर बेल्ट से उनकी पिटाई की। घायलों में कन्हैया दास, फुलेश्वर दास, अमीकर
दास, संजीव दास, संतोष दास और धनेश्वर दास शामिल हैं। इन घायलों में किसी के
तलवे पर जख्म है, तो किसी
के पैर में, किसी के
शरीर के कई हिस्सों में मारपीट के जख्म हैं। सिटी एसपी राज ने बताया कि संबंधित
एसडीपीओ को निर्देशित किया गया है और मामले की जांच की जा रही है। साक्ष्य एकत्रित
कर सामने रखे जाएंगे और इसमें जो भी दोषी होंगे उनपर कार्रवाई की जाएगी।
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